Harbhajan Singh: क्रिकेट और भावनाओं का रिश्ता भारत में हमेशा से गहरा रहा है, लेकिन जब बात देश की सुरक्षा और सम्मान की आती है, तो क्रिकेट कहीं पीछे छूट जाता है। पूर्व भारतीय क्रिकेटर हरभजन सिंह ने एक बार फिर यही संदेश दिया है। उन्होंने साफ शब्दों में कहा है कि एशिया कप 2025 में भारत को पाकिस्तान के खिलाफ मैच नहीं खेलना चाहिए। उनका कहना है कि जब तक देश के जवान सीमा पर अपनी जान की बाजी लगा रहे हैं और शांति बहाल नहीं होती, तब तक क्रिकेट जैसी चीजों का कोई महत्व नहीं है।
Harbhajan Singh का बड़ा बयान
दोस्तों हरभजन सिंह ने ये बयान ऐसे समय में दिया है जब हाल ही में पहलगाम हमले में हमारे कई जवान शहीद हुए और सीमा पर तनाव लगातार बना हुआ है। उनका कहना है कि हमारे सैनिकों की कुर्बानी के सामने एक क्रिकेट मैच छोड़ देना बहुत छोटी बात है। हमारे देश का वो जवान जो सरहद पर खड़ा है, जिसकी फैमिली उसे महीनों तक नहीं देख पाती और कई बार वो वापस भी नहीं लौट पाता, उसकी कुर्बानी बहुत बड़ी है। इसके मुकाबले अगर हम एक क्रिकेट मैच छोड़ दें, तो ये बहुत मामूली बात है, हरभजन ने भावुक होते हुए कहा।
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एशिया कप 2025 में पाकिस्तान से मैच खेलने से किया इंकार
दोस्तों आपको बता दें कि हरभजन सिंह हाल ही में वर्ल्ड चैंपियनशिप ऑफ लीजेंड्स में इंडिया चैंपियंस टीम का हिस्सा थे, जहां उन्होंने पाकिस्तान के खिलाफ दो मैच छोड़कर विरोध दर्ज कराया था। उनके इस कदम की देशभर में चर्चा हुई थी।
एशिया कप 2025 में भारत और पाकिस्तान को एक ही ग्रुप में रखा गया है और संभावना है कि दोनों टीमें तीन बार आमने-सामने हों। लेकिन हरभजन का कहना है कि सरकार की तरह खिलाड़ियों को भी ‘खून और पानी एक साथ नहीं बह सकते’ के सिद्धांत पर अडिग रहना चाहिए। उन्होंने कहा, देश पहले है, बाकी सब बाद में। हमारी पहचान देश से है, चाहे आप खिलाड़ी हों, अभिनेता हों या कोई और। कोई भी देश से बड़ा नहीं है।
Harbhajan Singh didn’t mince his words over BCCI’s Asia Cup 2025 stance. “Hamare jawanon ke parivaar par kya beetati hai jab wo ghar wapas nahi aate. Aur hum cricket khelne chale jaate hain,” he said.#AsiaCup2025https://t.co/hY9xSpY6Vj
— CricketNDTV (@CricketNDTV) August 13, 2025
दोस्तों भारत इस बार एशिया कप का मेजबान है, लेकिन पाकिस्तान टीम को वीजा मुद्दों के कारण टूर्नामेंट यूएई में कराने का फैसला हुआ है। फिर भी हरभजन का मानना है कि जब तक आतंकवाद और सीमा पर गोलीबारी जैसी समस्याएं खत्म नहीं होतीं, तब तक पाकिस्तान के खिलाफ मैदान पर उतरना सही नहीं है।
आखिर में दोस्तों, हरभजन सिंह का यह बयान सिर्फ क्रिकेट की बात नहीं करता, बल्कि ये हमें याद दिलाता है कि जब देश की बात हो, तो व्यक्तिगत उपलब्धियों और खेल से भी ऊपर उठकर सोचना चाहिए। शायद यही वो जज्बा है, जो हमारे जवानों और सच्चे देशभक्तों में समान रूप से देखने को मिलता है।